Shayari Sad,jidgi ka khilona_शायरी दुःखद
होठों से भी ऊपर से पर अंदर से घायल भी हो गई होगी कुछ समझदार पर थोड़ी
पागल भी होगी और क्या बोले मुझे भूल चुकी हम आज छोड़ो तुम जाओ देखो ससुराल में उसके गहनों में एक मेरी पायल भी होगी
hothon se bhi opar se par andar se ghaayal bhi ho gi hogi
kuchh samajhdar par thodi paagal bhi hogi aur kya
bole mujhe bhol chuki ham aaj chhodo tum jao dekho sasuraal mein
mein usake gahano mein ek meri paayal bhi hogi

अच्छा जा रही हो तो चलो एक काम कर दो अच्छा जा रही हो तो चलो एक काम कर दो मेरा नाम होने से पहले ही मुझे बदनाम कर दो

इतना गुमान था कि मुझे तुमसे ज्यादा कोई सच्चा नहीं लगा मुझे इतना गुमान था कि मुझे तुमसे ज्यादा कोई अच्छा नहीं लगा और ए मेरे हमसफर तुम्हारे बाद मुझे कोई अच्छा नहीं लगा

जाने किस मोड़ पर आ गई हूं मैं सब कुछ भी ऐसा लग रहा है नींद से आंखें भरी है पर अब सपनों से डर लग रहा है बहुत सोच समझकर खामोश हूं मैं

पर देखने का मन कर रहा है मेरी खामोशियों से इसकी रिहाई लग रही है शायद कातिल अपनी बर्बादी से बेखबर लग रहा है कि मसला है

एक बार तुझे भूलने के लिए याद करता हूं कुछ अब तक अपनी आदतों से सुधर रहा हूं मैं जानता हूं तूने बदल लिया है शहर अपना फिर भी तेरी गली से गुजर रहा हूं मैं
Shayari Sad,jidgi ka khilona

बहुत सोच समझकर यह जाल बिछाया गया है मुझे मोहब्बत के नाम पर याद नहीं आती है मोहब्बत के नाम पर आजमाया गया है झूठ को सच बनाकर मुझे दिखाया गया है झूठ को सच बनाकर मुझे दिखाया गया है मैं उठ भी ना सकूं कुछ इस कदर मुझे गिराया गया है

जहां पर तेरी गलती है हर एक गलती गिनवा सकता हूं मैं जहां जहां पर तेरी गलती है हर एक गलती गिनवा सकता हूं मैं खैर चुप रह कर भी तुझे तेरी औकात दिखा सकता हूं

तुम कहती थी कि तुम्हारी जिंदगी में मेरे सिवा कोई और नहीं अगर देखा ना होता किसी और कहा तेरे हाथों में तो खुदा कसम तेरे झूठ पर भी यकीन कर लेता है आजकल तुम मुझे सुनने लगे सुना है आजकल तुम मुझे चलने लगे हो मेरी गलियों में दिखने लगे हो मेरी गलियों में दिखने लगे हो और हसरतें औकात से ज्यादा हो गई है तुम्हारी हसरतें औकात से ज्यादा हो गई है तुम्हारी मुझ पर शायरी लिखने लगे

तू मेरा सब कुछ बस मेरा मुकद्दर का शो मेरा कुछ ना होता सिर्फ मेरा मुकद्दर होता क्या खबर थी कि उस से मोहब्बत हो जाएगी हमें तो बस उसका मुस्कुराना अच्छा लगा मुझसे किसी और का भी ताल्लुक हो तुमसे बारिश की बूंद भी तुम्हें छू ले तो आग लग जाती है बदला भी क्या लूं तुमसे तुम तो आज भी हंसते हुए अच्छे लगते हो
sad Shayari

बहुत कमजोर दिल था मेरा लेकिन इस दुनिया से मिले धोखे से मजबूत कर दिया बहुत गलत मुड़ गया था मगर रास्ता मिला वक्त गुजर ही जाता है लेकिन बाद में और लोग हमेशा याद रहते हैं तुम्हारे अलावा कोई दोस्त

मुझे लगा कि मेरे पास तुम हो तो मुझे किसी और दोस्त की क्या जरूरत होगी वरना गलत था वह लड़की है जनाब मोहब्बत में जन्नत दिखा देगी और

नफरत में औकात मतलब की दुनिया छोड़ दिया सबसे मिलना वरना यह छोटी सी उमर अभी तन्हाई के काबिल कहां से तैयार रखना लड़का मोहब्बत हार बैठा है हम जैसे तनहा लोगों का जीना क्या और मरना क्या आज तहे दिल से निकले कल दुनिया से निकल जाएंगे तुम एक था राजा एक थी रानी

अलग अलग सी कास्ट खत्म कहानी खड़ी रहेगी हमारे मरने पर कोई भी फर्क खाएगा और हमारे दुख में किसी की रोटी पड़ी रहेगा यह मोहब्बत के हादसे अक्सर दिल को तोड़ देते हैं तो मंज़िल की बात करते हो लोग राहों में छोड़ देते तुम किसी के नहीं हो सकते किसी का तो पता नहीं उसका नहीं हो सकता

लड़की जाता तो बुला लेते ही मुस्कुराते चौराहे जरा दूर का रिश्ता रखना बहुत तड़पाते हैं कि सीने से लगाने वाले उसे कभी मुझसे प्यार ही नहीं हुआ मुझे पता था कि तुम कहीं और कि मुझे तो पता था कि तुम कहीं और के मुसाफिर हो जनाब हमारे शहर तो बस रास्ते में आए
बस यही एहसास दिलाते दिलाते आज हम आम हो गए घूमने के बाद इंसान 2 तरीके का हो जाता है एक वह जो हर किसी में अपना प्यार घूमने लगता है दूसरा बहू पूरी जिंदगी कभी किसी से प्यार नहीं कर पाता काश कोई होता जो हाथ थाम लेता काश कोई होता जो मेरा नाम लेता है